चर्चा कॉलरी..... आम नागरिकों को सहज सरल रूप में स्वास्थ्य सेवा प्रदान करने हेतु तत्पर छत्तीसगढ़ शासन के संवेदनशील मुख्यमंत्री भूपेश बघेल जी की जन स्वास्थ्य संबंधी योजनाएं कोरिया जिले के नगर पालिका शिवपुर चर्चा में पूरी तरह दम तोड़ते नजर आ रही हैं वैसे तो कोरिया जिला मुख्यालय स्थित जिला चिकित्सालय निरंतर विवादों एवं बदहाल व्यवस्था के लिए चर्चित रहता है इसी क्रम में कलेक्टर कोरिया कार्यालय से मात्र 5 किलोमीटर की दूरी पर स्थित नगर पालिका शिवपुर चर्चा का शहरी उप स्वास्थ्य केंद्र पूरी तरह बदहाली और अव्यवस्था की भेंट चढ़ चुका है स्वास्थ्य केंद्र वेंटिलेटर पर पड़ा प्रतीत हो रहा है विगत 1 महीने से नगर पालिका शिवपुर चर्चा के शहरी उप स्वास्थ्य केंद्र में डॉक्टर नहीं है इसके अतिरिक्त प्रशिक्षित एएनएम नर्सों को भी चिकित्सालय से हटा दिया गया है स्वास्थ्य केंद्र में मात्र संविदा नियुक्त नर्स है जो मरीजों की जांच नहीं कर सकती और नहीं दवाई दे सकती हैं दिखावे के लिए प्रतिदिन उप स्वास्थ्य केंद्र खोला जाता है जहां पर सैकड़ों की संख्या में प्रतिदिन मरीज पहुंचते हैं और मायूस होकर वापस लौटते हैं नागरिकों को मजबूरी में अपनी जेब ढीली कर प्राइवेट चिकित्सकों की शरण में जाना पड़ता है लगभग 20 हजार आबादी वाले नगर पालिका शिवपुर चर्चा की इस अति गंभीर समस्या के समाधान हेतु सत्ता व विपक्ष दोनों ही दलों के लोग पूरी तरह आंखें बंद किए हुए हैं इन नेताओं को न तो नागरिकों के दुख दर्द की चिंता है और ना ही उनके स्वास्थ्य की कोई फिकर है 4 महीने बाद चुनाव होने हैं और तब यह नेता आम नागरिकों की सुविधाओं का बखान करते नजर आएंगे पालिका क्षेत्र में विपक्ष सिर्फ बर्थडे सेलिब्रेट करने तक सीमित है जन समस्याओं का निदान उनके समझ के परे है प्रदेश के सबसे छोटे जिले में स्वास्थ्य सेवा बहुत ही बदतर स्थिति में है नागरिक मूलभूत सुविधाओं से भी वंचित है स्थानीय नागरिकों ने कलेक्टर कोरिया से अपेक्षा की है की जनहित में शीघ्र ही इस गंभीर समस्या का समाधान करेंगे
सर्वाधिक परेशान है गर्भवती महिलाएं...... स्थानीय विधायक की पहल पर बड़े तामझाम के साथ पालिका क्षेत्र में उप स्वास्थ्य केंद्र प्रारंभ किया गया इस दौरान कई महिलाओं के सुरक्षित प्रसव भी कराए गए लोगों को लगा कि उन्हें बेहतर चिकित्सा अपने क्षेत्र में मिल जा रही है किंतु यह सोच सिर्फ दिवास्वप्न ही साबित हुई विगत कई माह से प्रसव बंद कर दिए गए हैं सिर्फ स्वास्थ्य केंद्र की बिल्डिंग नजर आती है चिकित्सा चिकित्सालय में चिकित्सक व स्वास्थ्य सुविधाओं के अभाव में क्षेत्र की गरीब गर्भवती महिलाएं बेहद परेशान है विदित हो कि पालिका क्षेत्र में 20 बिस्तर चिकित्सालय बनाने की घोषणा की गई थी किंतु यह सोच का विषय है कि जब दो बेड के उप स्वास्थ्य केंद्र हेतु चिकित्सक उपलब्ध नहीं है तो ऐसी स्थिति में 20 बेड का चिकित्सालय कैसे चलेगा
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